Tuesday, August 18, 2009

अधुरा

एक जाहिर सास अन्दर.

और आखें बंद इसपल.

और सारी खुशीका.

एक मंज्हर मै एहसास.

जब मै गा रहा था

वही अपूर्ण गाना.

जिसके शब्द..adhure हें.

अब हर कोई इंसान.

उपने लाब्जो से उसे पुरा गता हें.

पर मै चाहता हु..

वो कभी ना हो पुरा.

वो बस राहे अधुरा..

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